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There is nothing wrong with good accounting, except that it does not necessarily lead to good science.

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Aggressive accounting does not mean illegal accounting.

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Accounting does not make corporate earnings or balance sheets more volatile. Accounting just increases the transparency of volatility in earnings.

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Thursday, February 20, 2020

ह्रास (Depreciation) की विशेषताएँ क्या हैं ?


ह्रास (Depreciation) की प्रमुख विशषताएँ निम्नलिखित है :-



  1. ह्रास की व्यवस्था स्थायी सम्पत्तियों के लिए की। 
  2.  ह्रास का आशय किसी स्थायी संपत्ति के पुस्तकीय मूल्य में कमी से होता है। 
  3. ह्रास के रूप में संपत्ति के मूल्य में निरंतर कमी होती रहती है। 
  4. संपत्ति के मूल्य में कमी धीरे-धीरे नियमित व् स्थायी रूप से होती है। 
  5. ह्रास अनेक कारणों से हो सकता है, जैसे-घिसावट और क्षय, समय का व्यतीत होना, संपत्ति का अप्रचलन दुर्घटना आदि। 
  6. ह्रास एक आगम हानि है जिसे लाभ-हानि खाते में प्रभावित किया जाता है। 
  7. ह्रास सम्पत्तियों की लागत के वितरण की प्रक्रिया है, मूल्याङ्कन की नहीं। 
  8. ह्रास गैर-नकद संचालन व्यय है। 

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Saturday, February 8, 2020

रोजनामचा के उद्देश्य क्या हैं ? - What is the purpose of the journal?

रोजनामचा (Journal) के निम्नलिखित उद्देश्य हैं - 

  1. जर्नल का उद्देश्य सभी लेन-देनों का लेखा सिसिलेवार व तिथिवार रखना है। 
  2. दोहरा लेखा प्रणाली में प्रत्येक लेन-देन के दो पक्ष होते हैं,जर्नल  हमें बताता है कि किस खाते को Debit  किया जाता है और किस  खाते को Credit  किया जाता है। 
  3. जर्नल का तीसरा उद्देश्य लेजर या खाताबही में खतौनी करने में सुविधा प्रदान करना है। 
  4. जर्नल का चौथा उद्देश्य सौदे के संबंध में जानकारी प्रदान करता है। 
  5. जर्नल का पांचवाँ उद्देश्य विवादों व् मतभेदों को हल करने में सहायता प्रदान करना है। 

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रोजनामचा के क्या लाभ हैं ? - What are the benefits of a journal?

  • तिथिवार लेन-देनों का विवरण प्राप्त होना - जर्नल में लेन-देनों की प्रविष्टि तिथिवार की जाती है, अतः लेन-देनों का विवरण तिथिवार मिल जाता है। 
  • खतौनी की सुविधा - जर्नल से खाताबही में खोले गए विभिन्न खतों में खतौनी करने से सुविधा होती है। 
  • लेन-देन का पूर्ण विवरण मिलना - जर्नल में लेन-देनों की प्रविष्टि के साथ-साथ सौदे का संक्षिप्त विवरण व्याख्या के रूप में दिया जाता है। 
  • अशुद्धियों की कम संभावना - जौर्नाल में सौदे के दोनों रूप यानी डेबिट और क्रेडिट की प्रविष्टियाँ साथ-साथ की जाती हैं। इससे अशुद्धियों की संभावना कम हो जाती है। 
  • झगड़ों का निपटारा - जर्नल व्यापारिक झगड़ों व मतभेदों को निपटाने में भी मदद करते हैं। 


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Tuesday, February 4, 2020

रोजनामचा क्या है ? - What is Journal ?

रोजनामचा दो शब्दों के संयोग से बना हुआ है।  इसमें पहला शब्द रोज है तथा दूसरा शब्द नामचा है।  रोज शब्द का मतलब प्रतिदिन से होता है और नामचा से मतलब दर्ज करने अर्थात लिखने से होता है। 

प्रत्येक दिन के लेंन-दिनों को तिथि अनुसार लिखे जाने को रोजनामचा कहते हैं।  व्यवसाय के घटना क्रमो को तिथि अनुसार लिखा जाना रोजनामचा कहलाता है।

बहुत पहले रोजनामचा लिखने का कोई खास तौर तरीका नहीं था, लोग जैसे-तैसे व्यावसायिक लेन-देंन को लिखा करते थे।

सन 1494 ई. में इटली के प्रसिद्ध विद्वान ल्यूक्स पेसियोली ने रोजनामचा तैयार करने का विशेष तरीका दिया।  उनके द्वारा दिए गए तरीके को दोहरा प्रतिष्ठि प्रणाली (Double Entry System) कहा जाता है।

ल्यूक्स पेसियोली द्वारा दिए गए तरीके के अनुसार व्यावसायिक घटना को दो-दो जगह लिखा जाता है।  एक जगह को डेबिट (Debit) तथा दूसरी जगह को क्रेडिट (Credit) कहा जाता है। 



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